रिपोर्ट : राजेश तिवारी
इन दिनों धार्मिक आस्था और राजनीतिक बयानबाज़ी के बीच एक नया विवाद सामने आया है। समाजवादी पार्टी के महासचिव इंद्रजीत सरोज ने एक विवादित बयान देते हुए कहा कि यदि मंदिरों में ताकत होती, तो मुगल आक्रमणकारी भारत में नहीं आते और न ही मंदिर लुटते। उन्होंने आगे कहा कि "राम का नारा लगाने से कुछ नहीं होगा, बल्कि 'जय भीम' का नारा लगाने से आप आगे बढ़ेंगे। इस बयान पर संत समाज की ओर से कड़ी प्रतिक्रिया देखने को मिली। भदोही के अभोली (गड़ौरा) गांव में चल रही नौ दिवसीय रामकथा में भाग ले रहे पूज्य राजन जी महाराज ने इसका जवाब एक पवित्र चौपाई के माध्यम से दिया। उन्होंने कहा — "जाकी रही भावना जैसी, प्रभु मूरत तीन देखी तैसी" — अर्थात हर व्यक्ति को भगवान उसी रूप में दिखाई देते हैं जैसी उसकी भावना होती है। उन्होंने यह भी कहा कि हमें श्रीराम जी पर पूर्ण विश्वास है और हमारी आस्था अटूट है राजन जी महाराज ने अपने वक्तव्य में राजनीतिक बयानबाज़ी से दूर रहकर संयमित तरीके से जवाब दिया।
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